त्वचा का देखभाल का राम बाण नियम- सीटीएमपी
त्वचा की देखभाल की बात करने से पहले हम सर्दियों में त्वचा पर पड़ने वाले दुष्प्रभाव जान लें ताकि देखभाल में आसानी हो।
सर्दी की शुष्क हवा त्वचा की नमी को चुरा लेती है और त्वचा को और शुष्क बना देती है जिससे त्वचा में दरारें पड़ने लगती हैं।
त्वचा शरीर का तापमान भी नियंत्रित करती है। सर्दियों में बाहरी तापमान कम होता है इसलिए बाहरी रक्त नलिकाओं में रक्त प्रवाह कम हो जाता है जिससे शरीर का तापमान तो संतुलित रहता है पर ऊपरी सतह को तेल कम मिल पाता है। परिणाम स्वरूप त्वचा की चमक कम हो जाती है और झुर्रियां पड़ने की शुरूआत हो जाती है।
सर्दियों के त्वचा पर दुष्प्रभाव से बचने के लिए सी.टी.एम.पी. का पालन करें यानी-
* सी अर्थात् क्लीनिंग नियम-धूल, धुंआ व गंधक जैसे प्रदूषक पदार्थों का दुष्प्रभाव हटाने के लिए क्लीजिंग क्रीम का प्रयोग करें।
* तैलीय त्वचा के लिए ऐसी क्रीम प्रयोग करें जिसमें तेल हटाने की क्षमता हो।
* शुष्क त्वचा वाले ऐसी क्रीम प्रयोग करें जिसमें तेल हो।
* साधारण और सूखी त्वचा वाली महिलाएं ऊपर लिखित क्रीमें मिश्रित कर लगायें।
* टी. यानी टोनिंग हेतु अच्छे टोनर से क्लीजिंग के अवशेषों को साफ करें। अब त्वचा दोष रहित होकर आगामी उपचार के लिए तैयार हैं।
* एम. यानी माइश्चराइजिंग-चूंकि ऊपर लिखी प्रक्रियाओं 1 और 2 से त्वचा की सुरक्षा भी निकल जाती है और इससे पी.एच. भी असंतुलित हो जाता है, इसलिए माइश्चराइजिंग से त्वचा को नमी और पोषण दें।
* रूखी त्वचा- वॉटर इन आयल माइश्चराजर में थोड़ा पानी मिला माइश्चराइजर त्वचा को झुलसने व झुर्रियों से बचाता है।
* तैलीय त्वचा के लिए- आयल इन वॉटर माइश्चराइजर
* ड्राई त्वचा- वाटर इन आयल माइश्चराइजर।
* पी.यानी प्रोटेक्शन (बचाव)-सर्दियों में धूप का आनन्द लेने से पहले त्वचा पर सन प्रोटेक्टिव लोशन लगायें, जिस पर एस पी एफ कम से कम से 15 जरूर लिखा हो।
* लोशन लगाने के आधा घंटा बाद धूप सेवन करें चूंकि लोशन को त्वचा में समाने के लिए कुछ समय लगता है।
* गुनगुने पानी से नहायें। नहाने से पहले जैतून तेल या बादाम रोगन से मालिश करें। नारियल या सरसों का तेल भी प्रयोग किया जा सकता है।
* बहुत गर्म पानी से न नहायें चूंकि गर्म पानी से त्वचा की कैपिलरिज फैल जाती है और त्वचा का प्राकृतिक तेल गर्म पानी बहा कर ले जाता है जिसके परिणामस्वरूप खुश्की व झुर्रियां पड़ने की संभावना बढ़ जाती है।
सर्दी की शुष्क हवा त्वचा की नमी को चुरा लेती है और त्वचा को और शुष्क बना देती है जिससे त्वचा में दरारें पड़ने लगती हैं।
त्वचा शरीर का तापमान भी नियंत्रित करती है। सर्दियों में बाहरी तापमान कम होता है इसलिए बाहरी रक्त नलिकाओं में रक्त प्रवाह कम हो जाता है जिससे शरीर का तापमान तो संतुलित रहता है पर ऊपरी सतह को तेल कम मिल पाता है। परिणाम स्वरूप त्वचा की चमक कम हो जाती है और झुर्रियां पड़ने की शुरूआत हो जाती है।
सर्दियों के त्वचा पर दुष्प्रभाव से बचने के लिए सी.टी.एम.पी. का पालन करें यानी-
* सी अर्थात् क्लीनिंग नियम-धूल, धुंआ व गंधक जैसे प्रदूषक पदार्थों का दुष्प्रभाव हटाने के लिए क्लीजिंग क्रीम का प्रयोग करें।
* तैलीय त्वचा के लिए ऐसी क्रीम प्रयोग करें जिसमें तेल हटाने की क्षमता हो।
* शुष्क त्वचा वाले ऐसी क्रीम प्रयोग करें जिसमें तेल हो।
* साधारण और सूखी त्वचा वाली महिलाएं ऊपर लिखित क्रीमें मिश्रित कर लगायें।
* टी. यानी टोनिंग हेतु अच्छे टोनर से क्लीजिंग के अवशेषों को साफ करें। अब त्वचा दोष रहित होकर आगामी उपचार के लिए तैयार हैं।
* एम. यानी माइश्चराइजिंग-चूंकि ऊपर लिखी प्रक्रियाओं 1 और 2 से त्वचा की सुरक्षा भी निकल जाती है और इससे पी.एच. भी असंतुलित हो जाता है, इसलिए माइश्चराइजिंग से त्वचा को नमी और पोषण दें।
* रूखी त्वचा- वॉटर इन आयल माइश्चराजर में थोड़ा पानी मिला माइश्चराइजर त्वचा को झुलसने व झुर्रियों से बचाता है।
* तैलीय त्वचा के लिए- आयल इन वॉटर माइश्चराइजर
* ड्राई त्वचा- वाटर इन आयल माइश्चराइजर।
* पी.यानी प्रोटेक्शन (बचाव)-सर्दियों में धूप का आनन्द लेने से पहले त्वचा पर सन प्रोटेक्टिव लोशन लगायें, जिस पर एस पी एफ कम से कम से 15 जरूर लिखा हो।
* लोशन लगाने के आधा घंटा बाद धूप सेवन करें चूंकि लोशन को त्वचा में समाने के लिए कुछ समय लगता है।
* गुनगुने पानी से नहायें। नहाने से पहले जैतून तेल या बादाम रोगन से मालिश करें। नारियल या सरसों का तेल भी प्रयोग किया जा सकता है।
* बहुत गर्म पानी से न नहायें चूंकि गर्म पानी से त्वचा की कैपिलरिज फैल जाती है और त्वचा का प्राकृतिक तेल गर्म पानी बहा कर ले जाता है जिसके परिणामस्वरूप खुश्की व झुर्रियां पड़ने की संभावना बढ़ जाती है।
अगले कड़ी में कुछ उपयोगी टिप्स त्वचा के लिए .............
एक अच्छी जानकारी के लिए बहुत शुक्रिया
जवाब देंहटाएंबेहद उपयोगी जानकारी राजेंदर जी,आभार।
जवाब देंहटाएं-अपने ब्लॉग पर आकर्षक टिप्पणियाँ दिखाएँ !!-
बढ़िया जानकारी | आभार
जवाब देंहटाएंबहुत उपयोगी व अच्छी जानकारी के लिए शुक्रिया
हटाएंबेहद उपयोगी जानकारी के लिए बहुत-बहुत शुक्रिया !!
जवाब देंहटाएंबहुत ही उपयोगी जानकारी की प्रस्तुतीकरण.
जवाब देंहटाएंबढ़िया आलेख चमड़ी की संभाल पर .
जवाब देंहटाएंबहुत ही उपयोगी है आपका सी टी म टी का नुस्खा.ऐसे ही उपयोगी आलेख लिखते रहे.
जवाब देंहटाएंबहुत लाभकारी टिप्स हैं इनके लिए और होली के लिए भी बहुत-बहुत बधाई
जवाब देंहटाएंबहुत रोचक और सरल तरीके से उपयोगी जानकारी..आभार!
जवाब देंहटाएंहोली के पूर्व त्वचा के प्रति जागरुक करती उपयोगी पोस्ट के लिये आभार....
जवाब देंहटाएंbahut upyogi jankari .....rajendra jee .....tere bin par ...aapka intar hai ....
जवाब देंहटाएंउपयोगी जानकारी ...
जवाब देंहटाएंबहुत उपयोगी जानकारी..
जवाब देंहटाएंमौसम के अनुरूप अच्छी जानकारी हेतु आभार!
जवाब देंहटाएंबहुत ही उपयोगी पोस्ट,धन्यबाद.
जवाब देंहटाएंउपयोगी और दैनिक जीवन में लाभप्रद जानकारी.
जवाब देंहटाएंसर्दी में बहुत ही कामयाब टिप्स,धन्यबाद.
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